View Hymn (Bhajan)
Hymn No. 4369 | Date: 04-Sep-20022002-09-042002-09-04कोई रोये, कोई हँसे, जैसा जो कोई बोयेSant Sri Apla Mahttps://mydivinelove.org/bhajan/default.aspx?title=koi-roye-koi-hanse-jaisa-jo-koi-boyeकोई रोये, कोई हँसे, जैसा जो कोई बोये,
कर्मों की लाठी सबको लगे इससे बचे ना कोई।
तपती धूप में रहकर कोई मीठी नींद में सोये,
तो सेजशैया पर रहकर भी चैन ना पाये कोई।
करने को तो फरियाद भुगतने पर ना बिते पल ना रैना,
कैसी माया राम की, जिसे जान ना पाया कोई।
कोई रोये, कोई हँसे, जैसा जो कोई बोये