View Hymn (Bhajan)
Hymn No. 4248 | Date: 27-Aug-20012001-08-272001-08-27माना हरकोई किसी ना किसी आधार से रहते है ।Sant Sri Apla Mahttps://mydivinelove.org/bhajan/default.aspx?title=mana-harakoi-kisi-na-kisi-adhara-se-rahate-haiमाना हरकोई किसी ना किसी आधार से रहते है ।
फूल अपनी डाली के आधार पर महकता चहकता है,
चंद्र नभ के आधार पर शीतलता बरसाता है,
साँसें जिस्म के आधार पर आती जाती हैं,
पर विश्वास है वो सिर्फ विश्वास के आधार पर रहता है ।
विश्वास को ना कोई अन्य आधार होता है,
विश्वास ही विश्वास का आधार बन जाता है,
सत्य को ना आधार की जरूरत कभी रहती है,
सत्य को सत्य का आधार ही रहता है,
स्वयं प्रकाशी जो हैं, वो ना किसी के आधार पर होते हैं ।
माना हरकोई किसी ना किसी आधार से रहते है ।